भारत को विविधताओं का देश कहा जाता है। ये वो देश है जहाँ के रीति-रिवाजों, परम्पराओं, भाषाओं और खाने के चर्चे केवल इस देश में ही नहीं बल्कि दुनियाभर में होते आए हैं। शायद आपको ये जानकार हैरानी भी हो कि भारत में बढ़ती दूरी के साथ-साथ कल्चर में भी बदलाव आ जाता है। कभी-कभी तो 100 किलोमीटर से भी कम दूरी में आपको तरह-तरह की संस्कृतियों का समागम दिखाई दे जाएगा। खैर भारत में दो महीने के छोटे से समय में की सारे त्योहारों का होना भी आम बात ही समझिए। यदि आप घुमक्कड़ी के साथ-साथ किसी बढ़िया अनुभव की भी तलाश कर रहे हैं तो इन त्योहारों में शामिल होकर देखिए। यकीन मानिए आपको जी जिंदगीभर के लिए खजाना मिल जाएगा।
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फरवरी, 2021
1. रण उत्सव
उत्सव के बारे में: ये भारत का सबसे बड़ा सफेद रेगिस्तान का फेस्टिवल है। चार महीनों तक चलने वाले इस उत्सव में आपको गुजरती संस्कृति का बढ़िया नजारा देखने के लिए मिलता है।
कब: नवंबर 12, 2020 से फरवरी 28, 2021
कहाँ: द टेंट सिटी, धोर्डो-कच्छ का रण, गुजरात
क्यों देखें: यदि आप गुजरती संस्कृति को देखने के साथ-साथ टेंट में रहने का मजा उठाना चाहते हैं तो आपको इस उत्सव में जरूर शामिल होना चाहिए। इसके अलावा यदि आप गुजरात का लोक नृत्य, संगीत, हैंडीक्राफ्ट और सबसे महत्वपूर्ण गुजरती खाने का स्वाद लेना चाहते हैं तो आपको इस उत्सव में जरूर आना चाहिए।
अधिक जानकारी के लिए यहाँ क्लिक करें।
2. जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल
फेस्टिवल के बारे में: इस फेस्टिवल को भारत का सबसे बड़ा साहित्य का मेला कहना भी गलत नहीं होगा। साल में एक बार होने वाले इस फेस्टिवल में हिस्सा लेने के लिए केवल भारत ही नहीं बल्कि दुनिया के अलग-अलग कोने से लोग आते हैं। इस साल मलाला युसुफजई और बिल गेट्स जैसे महान हस्तियों के आने की बात है।
कब: 19 फरवरी 2021 से 28 फरवरी
कहाँ: वैसे ये फेस्टिवल जयपुर में आयोजित किया जाता है। लेकिन कोरोना महामारी के चलते इस साल जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल ऑनलाइन मोड में होने वाला है। इसके लिए ये वेबसाइट तैयार की गई है।
क्यों देखें: यदि आपको साहित्य से लगाव है तो आपको इस फेस्टिवल में जरूर शामिल होना चाहिए।
3. उत्सवम 2021, केरल फोकलोर फेस्टिवल
फेस्टिवल के बारे में: केरल पर्यटन द्वारा आयोजित किया जाने वाला ये फेस्टिवल राज्य का महत्वपूर्ण फोक फेस्टिवल है। इस साल फेस्टिवल का 13वां संस्करण मनाया जाने वाला है जिसमें केरल के तमाम कलाकार हिस्सा लेंगे।
कब: 20 फरवरी, 2021 से 26 फरवरी
कहाँ: ये फेस्टिवल केरल में कुल 30 अलग-अलग जगहों पर मनाया जाता है।
क्यों देखें: यदि आप केरल की संस्कृति को नजदीक से समझना चाहते हैं तो आपको इस फेस्टिवल में जरूर आना चाहिए। इस फेस्टिवल की सबसे खास बात है इसमें प्रदर्शित होने वाले केरल के पारंपरिक नृत्य जो धीरे-धीरे विलुप्त होने की कगार पर हैं। इसके अलावा ये फेस्टिवल केरल के स्थानीय लोगों के लिए भी बेहद महत्वपूर्ण है।
4. जैसलमेर डेजर्ट फेस्टिवल
फेस्टिवल के बारे में: राजस्थान पर्यटन द्वारा साल में एक बार आयोजित किया जाने वाला ये डेजर्ट फेस्टिवल राज्य के कल्चर और आर्ट को देखने का सबसे अच्छा तरीका है।
कब: 24 फरवरी 2021 से 27 फरवरी
कहाँ: जैसलमेर, राजस्थान
क्यों देखें: राजस्थान की सांस्कृतिक विरासत को एक जगह देखने के लिए मारू महोत्सव से बढ़िया तरीका और कोई नहीं है। डांस, गानों, आर्ट और लाजवाब पकवानों वाले इस फेस्टिवल को जैसलमेर की शान कहा जा सकता है।
मार्च 2021
5. माथो नगरंग फेस्टिवल
फेस्टिवल के बारे में: दो दिन तक चलने वाला ये फेस्टिवल लद्दाख की माथो मोनास्ट्री में मनाया जाता है। माथो भारत में तिब्बती बौद्ध धर्म से जुड़ा इकलौता साक्या मठ है।
कब: 8 मार्च 2021 से 9 मार्च
कहाँ: माथो मोनास्ट्री, लद्दाख
क्यों देखें: इस फेस्टिवल का मुख्य आकर्षण है रंग-बिरंगे कपड़े पहने मोंक जो अलग-अलग भगवानों की तरह तैयार होते हैं। ऐसा माना जाता है कि दो ओरेकल अकेले एक महीने तक ध्यान लगाने के बाद इस फेस्टिवल के दौरान लोगों के सामने आते हैं और आगे आने वाले समय के बारे में भविष्वाणी करते हैं।
6. अंतरराष्ट्रीय योग उत्सव
फेस्टिवल के बारे में: एक हफ्ते तक चलने वाले इस फेस्टिवल का आयोजन योग की राजधानी ऋषिकेश में किया जाता है जहाँ दुनिया के अलग-अलग हिस्सों से लोग आते हैं और योगा करते हैं।
कब: 7 मार्च 2021 से 13 मार्च
कहाँ: महामारी की वजह से इस साल फेस्टिवल का आयोजन ऑनलाइन मोड में होगा। इस बार फेस्टिवल उत्तराखंड ऋषिकेश के परमार्थ आश्रम से लाइव स्ट्रीम किया जाएगा।
क्यों देखें: अगर आप योग के बारे में जानना चाहते हैं या आपको योगा करना पसंद है तक आपको इस फेस्टिवल का हिस्सा जरूर बनना चाहिए।
7. लठमार होली
फेस्टिवल के बारे में: होली को भारत के सबसे लोकप्रिय और महत्वपूर्ण त्यौहारों में गिना जाता है। लेकिन भगवान कृष्ण की नगरी मथुरा में इस फेस्टिवल का आयोजन थोड़ा अलग तरह से किया जाता है। बरसाना और नंदगांव की महिलाएं हाथ में डंडा लेकर आदमियों को मारती हैं। देखने में ये चीज मजेदार के साथ-साथ बेहद दिलचस्प भी होती है।
कब: 23 मार्च 2021 से 24 मार्च
कहाँ: बरसाना और नंदगांव, मथुरा उत्तर प्रदेश
क्यों देखें: यदि आप सदियों से चली आ रही इस प्रथा को देखना चाहते हैं तो आपको इस फेस्टिवल में जरूर जाना चाहिए। इसके अलावा होली के समय बरसाना और नंदगांव में बनने वाली मिठाइयों का स्वाद लेना भी आपकी लिस्ट में जरूर होना चाहिए।
8. होला मोहल्ला
फेस्टिवल के बारे में: पंजाब के आनंदपुर साहिब में मनाया जाने वाला ये त्योहार सिखों के लिए बेहद महत्वपूर्ण होता है। इस त्योहार को भी होली के समय पर ही मनाया जाता है। लेकिन जहाँ एक तरफ होली में रंगों की बरसात होती है वहीं दूसरी तरफ होला मोहल्ला में सिख अपनी वीरता का प्रदर्शन करते हैं।
कब: 28 मार्च 2021 से 29 मार्च
कहाँ: आनंदपुर साहिब, पंजाब
क्यों देखें: यदि आप सिख निहांगों का लड़ाकू कौशल देखना चाहते हैं तो आपको इस फेस्टिवल को देख लेना चाहिए। इस फेस्टिवल में अलग-अलग हथियारों के साथ-साथ घुड़सवारी जैसी चीजें भी शामिल होती हैं। इसके अलावा आनंदपुर साहिब का लाजवाब लंगर खाना एकदम नहीं भूलना चाहिए।
9. कुंभ मेला
फेस्टिवल के बारे में: विश्व में लोगों का सबसे बड़ा और पुराना मेला इस साल हरिद्वार पर होने वाला है। ये फेस्टिवल 12 सालों में 4 बार आयोजित किया जाता है। इस साल महामारी की वजह से कुंभ मेला केवल 30 दिनों के लिए ही किया जा रहा है।
कब: 1 अप्रैल 2021 से 30 अप्रैल
कहाँ: हरिद्वार, उत्तराखंड
क्यों देखें: कुंभ में शामिल होने के लिए अलग-अलग लोगों के अलग-अलग कारण होते हैं। कुछ लोग धार्मिक और आध्यात्मिक वजहों से कुंभ का हिस्सा बनना चाहते हैं तो कुछ लोग पापों को धोने के लिए इसमें आस्था की डुबकी लगना चाहते हैं। कुछ लोग केवल कई सारे साधु संत को एक साथ देखने के लिए कुंभ में शामिल होना चाहते हैं। कुंभ मेला फोटोग्राफर और वीडियो शूट करने वालों के लिए भी पसंदीदा जगह होता है। लेकिन इस साल कुंभ में शामिल होने वाले सभी लोगों को खास सावधानी रखने की बात कही जा रही है। कुंभ के नियम कानूनों के बारे में जानने के लिए यहाँ क्लिक करें।
अप्रैल 2021
10. शिग्मो फेस्टिवल
फेस्टिवल के बारे में: गोवा में स्प्रिंग फेस्टिवल के नाम से मशहूर इस फेस्टिवल को राज्य के कोंकणी समुदाय द्वारा मनाया जाता है।
कब: 3 अप्रैल 2021 से 4 अप्रैल
कहाँ: पणजी और मापुसा, गोवा
क्यों देखें: यदि आप हो की सड़कों पर चमकदार और रंग-बिरंगी परेड देखना चाहते हैं तो आपको इस फेस्टिवल में जरूर शामिल होना चाहिए।
11. त्रिशूर पूरम
फेस्टिवल के बारे में: केरल में होने वाले सबसे प्रसिद्ध और रंग-बिरंगा महोत्सव जिसको वादक्कुन्नथन मंदिर में मनाया जाता है। इस त्योहार की शुरुआत राजा राम वर्मा ने की थी जो उस समय कोचीन के महाराजा हुआ करते थे।
कहाँ: त्रिशूर, केरल
कब: 23 अप्रैल, 2021
क्यों देखें: अगर आप स्वर्ण जड़ित हाथियों पर सजी मूर्तियों का मेला देखना चाहते हैं तो इस उत्सव का हिस्सा जरूर बनना चाहिए। फेस्टिवल की आकर्षक आतिशबाजी और चेंदा ड्रम की मोहक आवाज सुनने के लिए इस फेस्टिवल में जरूर आना चाहिए। आखिर केरल की यात्रा करने के लिए इससे बढ़िया और क्या ही वजह मिलेगी?
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