गर्मियों की छुट्टियों के लिए सबसे बेहतरीन ट्रिप:लद्दाख

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जब आप डेस्क के पीछे बैठे कंप्यूटर पर काम कर रहे होते हैं, एक्सेल शीट बना रहे होते हैं, तभी कहीं पर कोई टूटते तारे से मन्नत मांग रहा होता है, कोई आकाशगंगा को निहार रहा होता है, कोई इस खूबसूरती को अपने ज़हन में उतार रहा होता है। और अगर आप भी ऑफिस में बैठे हुए एक एडवेंचर दीवाने हैं और सोच रहे हैं कि इस बार गर्मियों को कैसे मज़ेदार बनाया जाए, तो मैं आपके लिए लेकर आई हूँ लद्दाख जाने का एक बेहतरीन प्लान। लद्दाख 13000 फीट की ऊँचाई पर बसा सर्द रेगिस्तान है जहाँ दुनिया की सबसे सुंदर और सबसे ऊँची मोटरेबल रोड है।

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दिलकश लैंडस्केप्स, बौद्ध मठ, करामाती झील और देश की रक्षा में तैनात सेना, रेगिस्तान और बर्फ, ये सब कुछ लद्दाख को रोड-ट्रिप के लिए एक बेहतरीन जगह बनाता है। तो चलिए धरती पर स्वर्ग का अनुभव करें, यहाँ लद्दाख में।

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लद्दाख बेहद खूबसूरत है, इसमें कोई शक नहीं, लेकिन यहाँ पहुँचना और कुछ वक्त गुज़ारने थोड़ा मुश्किल है, सिर्फ तब तक जब तक आप यहाँ कि जलवायू के आदि ना हो जाएँ। लद्दाख पहुँचने के दो रास्ते हैं: पहला मनाली से होकर और दूसरा कारगिल-श्रीनगर रूट। अगर आपके पास वक्त हो तो आप इस पूरे रूट को भी फॉलो कर सकते हैं।

लद्दाख पहुँचने का रास्ता

नई दिल्ली - मनाली - सरचू - लेह - नुब्रा घाटी - पैंगोंग त्सो

Photo of मनाली, Himachal Pradesh, India by Bhawna Sati

यह लद्दाख पहुँचने के लिए छोटा रास्ता है जिसमें 10 से 12 दिन लगते हैं और आप सभी प्रमुख पर्यटक आकर्षणों को कवर कर सकते हैं। यह जरूरी है कि आप एक रात के लिए मनाली में रुकें, जहाँ आप पुराने मनाली हिप्पी बाज़ार और कैफे में जाकर बैठ सकते हैं या नदी के किनारे चिल कर सकते हैं या फिर अपनी शाम हडिम्बा मंदिर में बिता सकते हैं।

सरचू

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लद्दाख रोड ट्रिप के लिए ज़रूर है कि आपका शरीर वहाँ की जलवायू और वातावरण के लिए तैयार हो। इसलिए सरचू में अपना अगला ब्रेक लें। यहाँ खुद को रिलैक्स करें और आगे आने वाले रोमांच के लिए मूड बनाएँ। ध्यान दें कि रोहतांग, केलोंग और जिस्पा के माध्यम से मनाली से सरचू की यात्रा पर, नेटवर्क कनेक्टिविटी खराब है और इनमें से कई स्थानों पर पोस्टपेड बीएसएनएल भी काम नहीं करता। पूरे सफर के दौरान, आप शानदार नज़ारों को रंग बदलते देखेंगे और कई ढाबे भी नज़र आएँगे जो गरमा गरम काहवा चाय परोसकर ठंड से बचाएँगे।

Photo of लेह by Bhawna Sati

लेह पहुँचने पर अपने आप को एक और ब्रेक दें। लेह में एक दिन बिताने के लिए काफी कुछ है। यहाँ कई लोकप्रिय बौद्ध मठ हैं जिन्हें देखना बिल्कुल ना भूलें। हेमिस, थिकसे, शे, और स्टैकना गोम्पा! ये लद्दाख के कुछ सबसे बड़े मठ हैं, जो समृद्ध संस्कृति, लद्दाख और इसके लोगों की मूल्यवान विरासत को दर्शाते हैं। सिंधु-ज़ांस्कर संगम यहाँ का एक अन्य प्रमुख आकर्षण है, जहाँ आप दो जीवनदायी नदियों के दो रंगों को एक होता देख सकते हैं।

एनएच 1 डी पर बना कारगिल युद्ध स्मारक लेह से केवल 5 कि.मी. दूर है और भारतीय सेना द्वारा देश के लिए किए गए बलिदानों का एक भावपूर्ण प्रमाण है। आप अपने रास्ते पर मैगनेटिक हिल भी जा सकते हैं जो गुरुत्वाकर्षण को मात देता है।

Photo of नुब्रा घाटी by Bhawna Sati

लद्दाख के बारे में सबसे हैरान कर देनेचीजों में से एक यहाँ हर पल बदलते नज़ारे। हर मोड़ का एक अलग, जादुई दृश्य होता है। अब जादू की बात हो ही रही है तो नुब्रा घाटी का नाम लेना तो ज़रूरी है, ये वो घाटी है जहाँ ठंडे रेगिस्तान, काले पहाड़, पवित्र पानी, दो कूबड़ वाले ऊँट और रात में तारों भरा आसमान आपके दिल में बस जाता है। मुझे याद है कि जब मैं नुब्रा में थी और अपने सफर से थकी हारी रात 11 बजे बस सोने ही जा रही कि लाइट चली गई। मैं अपने कैंप से बाहर आई तो मेरे होश ही उड़ गए, पूरा गाँव अँधेरी की चादर ओढ़े था और ऊपर आकाशगंगा का शानदार नज़ारा! मैं ये नज़ारा ज़िंदगी भर नहीं भूल सकती।

Photo of पांगोंग झील by Bhawna Sati

अपने आप में एक और जादुई अनुभव है पैंगोंग त्सो । यह सफर मंज़िल से भी ज़्यादा सुंदर है, हालांकि ये बात लद्दाख के अधिकांश हिस्सों के लिए सच है, लेकिन पंगोंग झील तो बस शानदार है। समय बचाने के लिए आप सीधे नुब्रा से यहाँ पहुँच सकते हैं। यहाँ सूर्यास्त के बाद पहुँचें, रात तम्बू में बिताएँ और फिर सूर्योदय के समय इस दिव्य सौंदर्य के लिए उठ जाएँ।

पूरा रूट

नई दिल्ली - श्रीनगर - द्रास - कारगिल - लामायुरु - अलची - लेह - नुब्रा घाटी - पैंगोंग त्सो - सरचू - मनाली

Photo of श्रीनगर by Bhawna Sati

अगर आपके पा समय है और आप लद्दाख को पूरी तरह से देखना चाहते हैं, तो आप चंडीगढ़ और पठानकोट के रास्ते श्रीनगर जा सकते हैं। एक दिन के लिए यहाँ रुकें, स्थानीय बाजार और संस्कृति, डल झील और शानदार कश्मीरी भोजन का आनंद लें। सोनमर्ग की यात्रा के लिए कुछ समय निकाले और कश्मीर के असली सौंदर्य का अनुभव करें

Photo of कारगिल by Bhawna Sati

द्रास और कारगिल के माध्यम से श्रीनगर से लेह जाने वाला राजमार्ग लद्दाख पहुँचने के लिए सबसे सुंदर मार्ग है। "गेटवे टू लद्दाख" के नाम से जाना जाने वाला द्रास कारगिल से 60 कि.मी. की दूरी पर शानदार सुंदरता का एक छोटा अड्डा है। बीआरओ ने सड़कों पर यहाँ एक अनोखा और शानदार काम किया है। कारगिल में आप युद्ध स्थलों और युद्ध स्मारक की यात्रा कर सकते हैं, और लेह में सुंदर मठों और गाँवों में अध्यात्म से जुड़ सकते हैं।

लामायुरू

श्रेय: फुलवियो स्पाडा

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इसे अक्सर 'मूनलैंड' कहा जाता है, क्योंकि इसका नज़ारा कुछ-कुछ चंद्रमा की तरह लगता है। लामायुरु लद्दाख का सबसे पुराना गोम्पा है। लामायुरू और अलची दोनों ही वास्तुकला, संस्कृति और प्राकृतिक सौंदर्य में चार चाँद लगाते हैं। सरल शब्दों में, आप इन्हें गलती से भी मिस नहीं कर सकते।

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अलची में रुकने के बाद, आप अगले दिन लेह पहुँच सकते हैं और नुब्रा और पैंगॉन्ग के लिए उसी मार्ग को फॉलो कर सकते हैं और मनाली के रास्ते दिल्ली लौट सकते हैं। इस मार्ग में 20 दिन तक का समय लग सकता है। यह समझना महत्वपूर्ण है कि लद्दाख एक विशाल क्षेत्र है और एक यात्रा में हर एक स्थान को कवर करना लगभग असंभव है। इसलिए अपने समय और रुचि के अनुसार अपने स्थानों को चुनें।

जिम्मेदारी से यात्रा करें, हिमालय अब खतरे में हैं, कृपया कूड़ा ना करें और कम से कम प्लास्टिक का उपयोग करें।

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