जोधपुर में ओम बन्ना का मंदिर अन्य सभी मंदिरों से बिल्कुल ही अलग है. ओम बन्ना मंदिर की विशेषता है कि इसमें पूजा की जाने वाले भगवान की मूर्ति नहीं है बल्कि एक मोटरसाइकिल और उसके साथ ही ओम सिंह राठौर की फोटो रखी हुई है, लोग उन्हीं की पूजा करते हैं.
ओम बन्ना का पूरा नाम ओम सिंह राठौड था. वो चोटिला के निवासी ठाकुर जोग सिंह जी के पुत्र थे. सन 1988 में ओम बन्ना अपनी बुलेट में अपने ससुराल से चोटिला आ रहे थे. पेड़ के टकराने से उनकी बाइक का एक्सीडेंट हुआ और घटनास्थल पर उनकी मौत हो गयि. तफ्तीश के लिए पुलिस उनकी बाइक थाने ले गई. पर अगले दिन वो बाइक वापस उपने गंतव्य स्थान पर आ गई. चौथी बार पुलिस ने बुलेट को थाने में चैन से बाँध कर रखा, पर वापस बुलेट एक्सीडेंट वाली जगह चली आई. अब लोगो को यह विश्वास हो गया की ये चमत्कार ही है तो वो बुलेट उन्होंने वहां पे रख दी.
पाली जोधपुर राजमाग पे यह जगह स्थित है. ओम बन्ना का चबूतरा, यही है और यहाँ दिन रात जोत जलती रहती है. श्रद्धालु यहाँ दूर दूर से आते है. लोग यहाँ नारियल, दारू फुल आदि का चढ़ावा चढाते है.
इस लिए जब भी आप जोधपुर घूमने आएं तो इस अजीबो गरीब बुलट बाबा के मंदिर को देखना ना भूलें |
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